शिक्षा

फार्मेसी वीक पर एसडीजीआई छात्रों का बायोमेड हेल्थकेयर में ज्ञानवर्धक औद्योगिक भ्रमण

भ्रमण का उद्देश्य विद्यार्थियों को औषधि एवं चिकित्सा उपकरण निर्माण की वास्तविक प्रक्रियाओं से परिचित कराना था।

स्मार्ट विज़न समाचार

गाज़ियाबाद। 64वें राष्ट्रीय फार्मेसी सप्ताह के उपलक्ष्य में स्कूल ऑफ़ फ़ार्मास्यूटिकल साइंसेज़, एसडीजीआई ग्लोबल यूनिवर्सिटी द्वारा डी. फार्म के विद्यार्थियों के लिए एक महत्वपूर्ण औद्योगिक भ्रमण का आयोजन किया गया। यह भ्रमण फरीदाबाद के पृथला स्थित बायोमेड हेल्थ केयर प्रोडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड में सम्पन्न हुआ। भ्रमण का उद्देश्य विद्यार्थियों को औषधि एवं चिकित्सा उपकरण निर्माण की वास्तविक प्रक्रियाओं से परिचित कराना था।

इस भ्रमण का समन्वयन डॉ. बबीता कुमारी और सुश्री नेहा रावत (सहायक प्रोफेसर) द्वारा सफलतापूर्वक किया गया, जबकि संपूर्ण कार्यक्रम प्रो. (डॉ.) शालिनी शर्मा, निदेशक, के मार्गदर्शन और विश्वविद्यालय प्रशासन के सहयोग से आयोजित हुआ। प्रबंधन द्वारा प्रदान किए गए सतत समर्थन ने इस शैक्षणिक पहल को और अधिक प्रभावी बनाया।

कंपनी पहुंचने पर विद्यार्थियों का स्वागत श्री रविंदर रावत (हेड, एचआर) ने किया। वहीं श्री दीपक आहूजा ने कंपनी की कार्यप्रणाली, गुणवत्ता नियंत्रण, मेडिकल डिवाइस निर्माण प्रक्रिया एवं उद्योग के नवीनतम रुझानों पर विस्तृत प्रस्तुति दी। विद्यार्थियों ने उत्साहपूर्वक प्रश्न पूछे और मेडिकल डिवाइस इंडस्ट्री की वास्तविक चुनौतियों को समझा।

भ्रमण के दौरान विद्यार्थियों ने निर्माण इकाई का औद्योगिक दौरा किया, जिसमें उन्हें दवा एवं चिकित्सा उपकरण निर्माण से जुड़े उत्पादन, परीक्षण, पैकेजिंग और गुणवत्ता आश्वासन जैसे चरणों को प्रत्यक्ष रूप से देखने का अवसर मिला। विशेष रूप से IV कैन्यूला निर्माण प्रक्रिया, क्लीनरूम का महत्व, GMP अनुपालन, स्वचालित मशीनरी का उपयोग और स्टरलाइजेशन तकनीक (ETO, गामा रेडिएशन, ई-बीम) के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई।

कंपनी विशेषज्ञों ने बताया कि IV कैन्यूला जैसे चिकित्सा उपकरणों में गुणवत्ता नियंत्रण अत्यंत कठोर होता है और प्रत्येक उत्पाद कई प्रकार की सुरक्षा जाँचों से गुजरता है। छात्रों ने जाना कि आधुनिक निर्माण प्रक्रियाओं में स्वचालन के बावजूद कुशल मानव संसाधन की भूमिका महत्वपूर्ण बनी रहती है।

यह औद्योगिक भ्रमण विद्यार्थियों के लिए अत्यंत ज्ञानवर्धक, प्रेरणादायक और व्यावहारिक अनुभव से परिपूर्ण सिद्ध हुआ। इससे न केवल उनका तकनीकी ज्ञान बढ़ा, बल्कि उन्हें उद्योग आधारित शिक्षा की वास्तविक उपयोगिता भी समझ में आई। यह पहल विद्यार्थियों को भविष्य में एक कुशल, जागरूक और जिम्मेदार फार्मेसी पेशेवर बनने की दिशा में मार्गदर्शित करेगी।

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